यह कहानी मथुरा शहर के पास के एक गांव के रहने वाले केशव (अक्षय कुमार) की है जो एक मांगलिक लड़का है. इस वजह से 36 साल का होते हुये भी उसकी शादी नहीं हो रही है. पहले उसकी शादी एक भैंस (मल्लिका) से कराई जाती है. केशव की एक साइकल की दुकान है और एक दिन जब वो साइकल डिलीवरी करने जया (भूमि पेडनेकर) के घर जाता है तो आंखों आंखों में प्यार हो जाता है और फिर शादी भी. लेकिन कहानी तब शुरू होती है जब शादी के बाद जया ससुराल आती है और पता चलता है कि घर में शौचालय नहीं है. वह ऐसे घर में रहने से साफ मना कर देती है और फिर कई रुढ़िवादी बातें सामने आती है और कहानी में अलग-अलग किरदार अपने अपने पात्रों को निभाते हुए कहानी को आगे ले जाते हैं.