@मोहम्मद ताहीर खान बीजापुर। शिक्षाकर्मियों की एक दिनी हड़ताल के चलते सोमवार को जिले के 90 फीसदी स्कूलों में ताले लग गए और पढ़ाई ठप हो गई। आठ सूत्री मांगों को ले शिक्षाकर्मियों ने सोमवार को लाईवलीहुड कॉलेज के सामने धरना दिया और रैली निकाली। शालेय शिक्षाकर्मी संघ(शिक्षक पंचायत संघर्ष समिति) बीजापुर के झण्डे तले शिक्षाकर्मियों ने धरना दिया। संगठन ने मूल विभागों में सेवा हस्तातंरण, संविलयन एवं शासकीय कारण समान कार्य -समान वेतन के आधार पर करने की मांग की साथ ही संघ ने सातवें वेतनमान, वेतन विसंगति दूर करने,दो स्तरीय क्रमोन्नति समयमान वेतनमान, पुनरीक्षित वेतनमान, वेतनमान में कटौती ना करने, वरिष्ठता के आधार पर प्राचार्य या प्रधान पाठक के पद पर पदोन्नति, व्याख्याता, व्यायाम शिक्षक, उर्दू शिक्षक व लाइब्रेरियन को भी पदोन्नति का लाभ दिए जाने, 2004 से पहले नियुक्त शिक्षाकर्मियों की जीपीएफ कटौती एवं अनुकंपा नियुक्ति में टेट व डीएड की बाध्यता खत्म करने की मांग करते कहा है कि खुली स्थानांतरण नीति की जरूरत है। संगठन ने कहा है कि बीजापुर जिले में राजीव गांधी शिक्षा मिशन व आदिम जाति कल्याण विभाग में कार्यरत पंचायत शिक्षकों को आज भी पुनरीक्षित वेतनमान एवं समयमान वेतनमान के एरियर्स का भुगतान नहीं किया गया है। संघ ने इसके लिए आबंटन भेजने की मांग की है। संगठन के जिला सचिव कैलाष चंद्र रामटेके ने बताया कि शिक्षाकर्मियों की समस्या का हल नहीं हो पा रहा है। 15 नवंबर तक समस्या का हल नहीं निकला तो 16 नवंबर से बेमियादी हड़ताल शुरू की जाएगी।